स्वस्थ्य शिक्षा (Health Education) के उद्देश्य

Objectives of Health Education

स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) की आवश्यकता प्रत्येक उम्र प्रत्येक वर्ग और विश्व के प्रत्येक हिस्से में बसे लोगों के लिए एक जैसी है। विकसित देशों में स्वास्थ्य शिक्षा की उतनी ही जरूरत है जितनी की विकासशील देशों में है। निरंतर जीवन शैली में बदलाव के कारण स्वास्थ्य शिक्षा की अत्यधिक आवश्यकता महसूस की जा रही है। स्वास्थ्य शिक्षा की विभिन्न परिभाषाओं का अध्ययन और विश्लेषण के बाद निम्नलिखित उद्देश्य बताये गए हैं।

  • लोगों को जागरूक करना या सम्बन्धी ज्ञान का विकास
  • लोगों को प्रेरित करना या स्वास्थ्य सम्बन्धी सही दृष्टिकोण का विकास
  • लोगों को कार्यवाई के लिए दिशा निर्देश देना या वांछनीय स्वास्थ्य आदतों का विकास
  • व्यक्ति का सर्वोत्तम विकास (शारीरिक व मानसिक)
  • स्वस्थ मानवीय सम्बन्धों का विकास
  • स्वस्थ कार्यकुशलता का विकास
  • स्वास्थ्य से सम्बंधित नागरिक उत्तरदायित्व का विकास

लोगों को जागरूक करना या सम्बन्धी ज्ञान का विकास

स्वास्थ्य (Health) का प्रथम उद्देश्य खोज व अनुसन्धान के आधार पर प्राप्त जानकारी को लोगों तक पहुँचाना है। इन जानकारियों के द्वारा लोगों के स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्यों की पहचान करके उसे दूर करने में मदद करता है। ऐसी जानकारियां स्वास्थ्य व् सफाई से जुड़े अज्ञान, पूर्वाग्रहों, गलत धारणाओं व अंध विश्वासों को दूर रखने सहायता करती हैं।

लोगों को प्रेरित करना या स्वास्थ्य सम्बन्धी सही दृष्टिकोण का विकास

स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) अंतर्गत लोगों को स्वास्थ्य से सम्बंधित ज्ञान व जानकारी देना ही पर्याप्त नहीं है, बल्कि उन्हें इसके लिए प्रेरित व उत्साहित करने की भी आवश्यकता है। इस ज्ञान के आधार पर वे अपने नित्य जीवन में अपने व्यवहार, अपनी आदतों, तथा अपनी सोच से अपने जीवन शैली में बदलाव ला सकते हैं, व उसे और बेहतर बना सकते हैं। स्वस्थ दृष्टिकोण को अनुसरित करने वाले व्यक्ति अपने परिवार, समाज और देश में स्वस्थ जीवन का सन्देश स्वयं ही पहुंचाते जायेंगे।

लोगों को कार्यवाई के लिए दिशा निर्देश देना या वांछनीय स्वास्थ्य आदतों का विकास

किसी भी प्रकार की जानकारी अथवा ज्ञान तब तक लाभकारी नहीं होगी जब तक उसका उपयोग अच्छी आदतों व प्रथाओं को विकसित करने में नहीं किया जायेग, और लोगों के भीतर स्वस्थ जीवन पद्धति को अपनाने के लिए दृढ़ संकल्पित करेगी। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) व्यक्ति में स्वास्थ्य सम्बन्धी आचार-व्यवहार और नजरिया व्यक्ति के स्वास्थ्य के स्तर का निर्धारण करता है। हानिकारक आदतों को अपनाने स्वास्थ्य बिगड़ना स्वाभाविक है जबकि अच्छी आदतों को अपनाने से मन और शरीर में सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह होता है।

व्यक्ति का सर्वोत्तम विकास (शारीरिक व मानसिक)

व्यक्ति के सर्वोत्तम विकास से अभिप्राय है कि उसके व्यक्तित्व के सभी पहलुओं का विकास। यह ऐसी स्थिति है जिसमें व्यक्ति अपने आसपास मौजूद समस्त स्रोतों व संसाधनों उपयोग करकेअपने जीवन को बेहतरीन ढंग से जीने में समर्थ हो जाता है। जो व्यक्ति शारीरिक व मानसिक रूप से स्वस्थ होता है उसे जीवन में किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं होती है और वह प्रत्येक बाधाओं को आसानी से पर कर लेता है। स्वस्थ व्यक्तित्व के लिए मानसिक स्थिरता आवश्यक है। शारीरिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति मानसिक रूप से भी स्वस्थ रहता है और हर प्रकार के चुनौतियों का सामना कुशलता से करता है।

स्वस्थ मानवीय सम्बन्धों का विकास

मानवीय सम्बन्ध ही सुखी व सफल जीवन है आधार मन जाता है। स्वस्थ व्यक्ति अपने साथियों का सहयोग करके उनसे अच्छे सम्बन्ध रखता है। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) का मुख्य उद्देश्य मनुष्यों में परिवार के भीतर आपसी भाई-चारा व बेहतर ताल-मेल को स्थापित करना है। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) मानवीय संबंधों को सुधारने में बेहतर योगदान प्रदान करती है। स्वस्थ व्यक्ति हमेशा दूसरों की भलाई व बेहतरी के बारे में सोचता है और हमेशा दूसरों ताल-मेल बिठा कर आपसी सामंजस्य के साथ कार्य करता है।

स्वस्थ कार्यकुशलता का विकास

प्रत्येक व्यक्ति को जीवन यापन के लिए कोई व्यवसाय, धंधा या कारोबार अपनाना ही पड़ता है और अपने कार्यो को अच्छी तरह से करने के लिए अपने कार्यों में दक्ष होना पड़ता है। आर्थिक कार्यकुशलता चाहे उत्पादन के क्षेत्र में हो या सेवाएं प्रदान करने के क्षेत्र में हो वो हमेशा नियम और नियंत्रण मांगती है शारीरिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति इस तरह की चुनौतियों का सामना बेहतर ढंग से करता है और अच्छे नियम बनाकर अपने कार्यकुशलता को भी सिद्ध करता है।

स्वास्थ्य से सम्बंधित नागरिक उत्तरदायित्व का विकास

स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) का एक और प्रमुख उद्देश्य व्यक्तियों के अंदर देश के प्रति उत्तरदायित्व को विकसित करना है। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) व्यक्ति के अंदर सर्वपक्षीय विकास को विकसित करने में मदद करती है। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) व्यक्ति के अंदर परस्पर सहयोग, स्नेह, परोपकार, भाईचारे की भावना, त्याग की भावना, कर्तव्यपरायणता, तथा उत्तरदायित्व की भावना को विकसित करने में सहयोग प्रदान करता है। स्वास्थ्य शिक्षा (Health Education) के कार्यक्रमों के द्वारा व्यक्तिओं के स्वास्थ्य के प्रति अंदर अच्छे संदेशों को प्रचारित व प्रसारित करने का काम करती है जिसके कारण अच्छे नागरिक मूल्यों का विकास होता है, जिसके कारण स्वस्थ समाज व स्वस्थ देश का निर्माण होता है।

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